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eSim क्या होता है? और यह eSIM किस प्रकार से काम करता है? ई-सिम से हमें क्या लाभ होगा?-in hindi

 

eSim क्या होता है? और यह eSIM किस प्रकार से काम करता है? ई-सिम से हमें क्या लाभ होगा?-in Hindi 

 


जब भी हमें कोई जरूरी कॉल करना होता है तो उसके लिए जरूरी होता है- एक फोन और उस फोन में लगा हुआ sim card मगर अब यह sim card चल रही फिजिकल से डिजिटल में बदलने वाला है। आने वाले भविष्य की तकनीक में हमें फिजिकल sim card लेने की आवश्यकता नहीं होगी।

                                             




आने वाले कुछ सालों में फिजिकल sim card की जगह eSIM ले लेगा जो कि फोन के अंदर पहले से ही इंस्टॉल होगा। यह physical sim card का upgraded version एक डिजिटल eSIM कार्ड होगा। eSIM फिजिकल sim card से ज्यादा फास्ट काम करेंगी और यह eSIM फिजिकल sim card से कम बैटरी खर्च करेगी।

 

तो चलिए जानते हैं कि यह eSIM क्या होता है और यह किस प्रकार से काम करता है। साथ ही इसे एक्टिवेट डीएक्टिवेट कैसे किया जाता है और इससे क्या फायदा हो सकता है, विस्तार से जानते हैं?

 

1. eSIM:-

जैसे-जैसे तकनीक विकसित होती गई वैसे-वैसे उपकरणों का आकार छोटा होता गया। ऐसा ही sim card के साथ भी हुआ। शुरुआत में जब हम MINI sim card इस्तेमाल करते थे, लेकिन समय के साथ वह छोटा हो गया और मिनी से माइक्रो, माइक्रो से नैनो और नैनों से भी छोटा अब eSIM card आने वाला है।

 




जैसे-जैसे तकनीकी विकसित होती जाएगी, वैसे-वैसे हमारे उपकरणों का आकार भी छोटा होता जाएगा और हो सकता है कि eSIM card की जरूरत भविष्य में ना पड़े ।

 

2. eSim क्या है? eSIM kya hai?

eSIM card का पूरा अर्थ होता है एंबेड सिम (embedded sim) एंबेड सब्सक्राइबर आईडेंटिटी माड्यूल। यह फिजिकल sim card से बहुत ही ज्यादा अलग होता है। यह एक virtual sim card होता है जो कि एक चिप (chip) के समान आपके फोन में  पहले से ही एंबेड होता है मतलब  यह कि यह आपके फोन के साथ ही जुडा होता है |

 




यह एक virtual sim card होता है इसलिए इसको चलाने के लिए एक सॉफ्टवेयर की मदद ली जाती है। यह सॉफ्टवेयर आपके मोबाइल डिवाइस इस में पहले से ही इंस्टॉल रहते हैं।

यह eSIM बहुत ही कम डिवाइस में सपोर्ट करता है जिसके कारण यह सॉफ्टवेयर बहुत कम डिवाइस में ही काम करते हैं इसलिए जिसमें वह पहले से इंस्टॉल कर के रखे गए होते हैं। इसे आप फिजिकल sim card की तरह एक मोबाइल से निकाल कर दूसरे मोबाइल में नहीं डाल सकते। अगर आपको मोबाइल चेंज करना है तो वह आपको उसे उस मोबाइल में लगा हुआ है। eSIM card को डीएक्टिवेट करना होगा।

 

3. ई-सिम किस प्रकार से काम करती है? How does eSIM work?

जब आप कोई ऐसा डिवाइस करते हैं जो इस eSIM को सपोर्ट करता हूं तो उसमें मौजूद पहले से ही सिम पूरी तरह से खाली होती है। उसे एक्टिवेट करने के लिए आपको सर्विस प्रोवाइडर से संपर्क करना पड़ता है जो आपको उसकी eSIM को चालू करने के लिए process बताते हैं। सर्विस प्रोवाइडर कंपनियां आपको एक QR-code देती है जिसे स्कैन करने के बाद आपका डिवाइस  में स्थित ई-सिम(eSIM) एक्टिवेट हो जाता है और आप सर्विस प्रोवाइडर कंपनियों के तमाम ऑफरो का लाभ उठा सकते हैं। इस पूरी प्रक्रिया में लगभग 1 से 2 घंटे का समय लगता है। आपकी eSIM को एक्टिवेट (Activate) होने के लिए।

 

eSIM card में भी नॉर्मल sim card जैसे रिचार्ज कराना पड़ता है। बस आपको यह आसानी होती है कि आप यह सारे काम आपके मोबाइल से ही करा सकते हैं।


4. भारत मेंeSIM?eSIM in India?

                                                      

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अभी वर्तमान में भारत में सिर्फ जियो और एयरटेल केयर eSIM के सर्विस प्रोवाइडर हैं जो eSIM की सेवा उपलब्ध कराते हैं। बाकी टेलीकॉम कंपनियों ने अभी तक ऐसी सुविधा उपलब्ध नहीं कराई है।यदि आप एयरटेल और जिओ के कस्टमर नहीं है तो आप eSIM के फायदा नहीं उठा सकते और आपके पास उस eSIM को सपोर्ट करने वाले डिवाइस का भी होना जरूरी है।

 

5. eSIM को एक्टिवेट कैसे करें? How to activate eSIM?

आप दो तरीको से eSIM को एक्टिवेट कर सकते हैं। पहला तरीका यह है कि यदि आपके पास पहले से एयरटेल और जिओ की सिम है तो आप डायरेक्ट ही eSIM को एक्टिवेट कर सकते हैं। लेकिन यदि आपके पास एयरटेल और जिओ का नंबर नहीं है तो आपको नया नंबर लेना पड़ेगा या आप अपने पुराने नंबर को एयरटेल या जिओ में पोर्ट करवाना पड़ेगा।

तो चलिए देखते हैं एयरटेल और जियो में आप किस प्रकार से eSIM को एक्टिवेट कर सकते हैं?

* jio eSIM कैसे एक्टिवेट करे?

यदि आपके पास एक जिओ का नंबर है तो अपना eSIM डिवाइस लेकर  नजदीकी जिओ स्टोर अथवा रिलायंस डिजिटल स्टोर पर जाइए और वहां अपना फॉर्म भरकर सबमिट कर दीजिए। फॉर्म में अपना मो.नंबर और फोन का आईएमईआई(IMEI) नंबर जरूर लिखें क्योंकि यह बहुत जरूरी है। फॉर्म सबमिट करने के बाद जिओ store वाले आपका फॉर्म चेक करेगे और आपके द्वारा दी गई डीटेल्स जानकारी वाईफाई करेगे और उसके बाद आपको पॉइंट ऑफ़ स्केल(POS) मशीन के जरिए एक QR-Code जनरेट करके देगा, उसके बाद आपको इस QR-Code को स्कैन करना है और आपका eSIM एक्टिवेट हो जाएगा।

 

*Airtel eSIM कैसे एक्टिवेट करे?

 

यदि आप एक एयरटेल के मौजूदा कस्टमर हैं और आप अपने नंबर को eSIM में बदलाना चाहते हैं तो टाइप करें। eSIM<SPACE>Registered Email ID और भेज दीजिए। 121 पर मैसेज , जैसे  हि आप ऐसा करेंगे तो आपको  आपकी ईमेल आईडी पर कन्फर्मेशन मैसेज प्राप्त होगा, जिसमें आपसे पूछा जाएगा कि आप सही में अपनी फिजिकलsim card को eSIM card में बदलना चाहते हैं। जवाब मैं आपको 1 लिखकर भेजना होगा। जिसका मतलब होता है हां और यह सब आपको 60sec यानी कि 1 मिनट के अंदर-अंदर करना होगा। वरना यह मैसेज एक्सपायर(Expier) होती हो सकता है।

यह मैसेज भेजने के बाद आपको आपकी ईमेल आईडी पर है। QR-Code प्राप्त होगा इस QR-Code को स्कैन करके आप अपनी eSIM को एक्टिवेट कर सकते हैं ।

 

*आईफोन में eSIM को एक्टिवेट करने की सेटिंग

यदि आप एक आईफोन user  है, तो आप अपने फोन की सेटिंग में जाएं और फोन मोबाइल सेटिंग में लिखा हुआ>मोबाइल डाटा पर टाइप(click) कीजिए। उसके बाद आपको एड डाटा प्लान पर टाइप करना है और अंत में जाकर स्कैन क्यूआर कोड पर टाइप करना है जिसकी मदद से आप क्यूआर कोड को स्कैन कर अपनी esim को एक्टिवेट कर सकते हैं।

*Android में esim को एक्टिवेट करने की सेटिंग

यदि आप एक android user है तो आप अपने फोन की सेटिंग में जाइए और सेटिंग में जाकर नेटवर्क एंड इंटरनेट फिर मोबाइल नेटवर्क फिर टेप करें एडवांस> करियर और add करियर पर टाइप करें और अंत में जाकर स्कैन क्यूआर कोड पर टाइप करके कैमरा की मदद से क्यूआर कोड को स्कैन कर लीजिए, जिससे आपकी esim एक्टिवेट हो जाएगी।

 

 

 

6. esim के फायदे और नुकसान:

esim card का अपग्रेडेड वर्जन है। इसलिए आने वाले समय में यह हर स्मार्टफोन में देखने को मिलेगा तो चलिए जानते हैं esim के फायदे और नुकसान।

 

*esim कार्ड के कुछ बेहतरीन फायदे:

 

1.     No SIM Tray: esim card एक virtual sim card होता है जिसके कारण आपके स्मार्टफोन में एक अलग से sim card Tray देने की आवश्यकता नहीं पड़ेगी और आपके स्मार्टफोन में जगह की बचत होगी।

 

2.     ANTI-Thief: esim card का सबसे बड़ा फायदा यह है कि इसे कोई चोरी नहीं कर सकता हैं और यदि आपका फोन चोरी भी हो जाए तो उसमें लगा हुआ esim card की मदद से आप अपने फोन को ढूँढ सकते हैं।

 

3.     Less Power: क्योंकि esim card एक वर्चुअल sim card होता है और जो सॉफ्टवेयर की मदद से चलता है इसलिए यह फिजिकल sim card की बजाय बहुत ही कम बैटरी खर्च करेगा।

 

4.     Easy to Swicht operator: esim कार्ड की मदद से आप अपना सर्विस प्रोवाइडर बहुत ही आसानी से बदल सकते हैं। यदि आप एयरटेल के ग्राहक हैं और जिओ सर्विस प्रोवाइडर लेना चाहते हैं तो आपको अपना नं बदलने का कष्ट नही करना पड़ेगा | esim card ट्रैवलर्स (Travellers) के लिए किसी वरदान जैसा है क्योंकि यह esim card ट्रैवल्स को यह सुविधाएं उपलब्ध कराता है कि वह अपना ऑपरेटर स्विच कर सकते हैं। बिना किसी sim card नं को बदले।

 

*esim के नुकसान:

esim card के कुछ ऐसे भी नुकसान है जो आपको बिल्कुल पसंद नहीं आएंगे तो चलिए जानते हैं।

 

1.       जिस डिवाइस में esim card लगा है और  उसकी बैटरी लो है और आप अपने किसी दोस्त के फोन में esim card कोड एक्टिवेट करना चाहते हैं तो इसमें थोड़ा समय लगता है और यह esim जल्दी एक्टिवेट नहीं होता।

2.       आपके मोबाइल पर साइबर हमला होने की स्थिति में आपके मोबाइल का सारा डाटा तथा esim card का सारा डाटा भी उनके पास चला जाएगा।

 

 

7. निष्कर्ष Conclusion

आशा करता हूं कि आपको आर्टिकल eSim क्या होता है और यह eSIM किस प्रकार से काम करता है? ई-सिम के क्या-क्या फायदे होते हैं? समझ में आया होगा और इस विषय में आपको काफी उपयोगी जानकारी भी प्राप्त हुई होगी। अब यदि आपके इस टॉपिक (eSim क्या होता है और यह eSIM किस प्रकार से काम करता है? ई-सिम से हमें क्या लाभ होगा?) यदि इसको लेकर आपके मन में कोई सवाल होगा, तो आप हमें कमेंट बॉक्स नीचे में पूछ सकते हैं। यदि आपको यह आर्टिकल पसंद आया हो तो हमारे www.gohindi.in ब्लॉग को सब्सक्राइब करें। धन्यवाद।

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